प्रयागराज ले जाते वक्त डॉन के चेहरे पर खौफ 16 अक्टूबर को प्रयागराज में बबलू श्रीवास्तव की सुनवाई व्यापारी अपहरण कांड

 सहसंपादक - आसिफ अंसारी & ज़िला संवाददाता - अनिकेत सिंह

      जेल से बाहर निकालते डॉन बब्लू श्रीवास्तव     

बरेली : प्रयागराज (इलाहाबाद) के व्यापारी पंकज महिंद्रा अपहरण कांड के आरोपी डॉन बबलू श्रीवास्तव को लेकर प्रयागराज पुलिस बरेली सेंट्रल जेल से रवाना हो गई है.डॉन बबलू श्रीवास्तव को रविवार तीन बजे के आस पास बरेली सेंट्रल जेल से बाहर निकाला गया कड़ी सुरक्षा के बीच पुलिस बबलू को लेकर सोमवार को प्रयागराज जेल पहुंचेगी।उसकी प्रयागराज कोर्ट में पेशी कराई जाएगी. अपहरण के मामले की सुनवाई पहले 11 अक्तूबर को होनी थी, लेकिन बरेली पुलिस-प्रशासन ने प्रधानमंत्री के आने को लेकर व्यस्त होने का हवाला देकर सुरक्षा मुहैया नहीं कराने से इंकार कर दिया था. इस कारण बबलू श्रीवास्तव की कोर्ट में पेशी नहीं हो सकती थी.पंकज महिंद्रा के अपहरण मामले में अब 16 अक्तूबर को सुनवाई होनी है.


श्रीवास्तव की सुरक्षा में एक सीओ और दो इंस्पेक्टर50 से ज्यादा जवान तैनात 

बबलू श्रीवास्तव ने पेशी पर ले जाने के दौरान पूर्व मे मीडिया के सामने कहा था कि वह अपने भाई के तरह सेना का अधकारी बनना चाहता था लेकिन उसकी जिंदगी में एक छोटी सी घटना ने उसे अंडरवर्ल्ड का डॉन बना दिया यहीं से उसकी जिंदगी की शुरुआत हो गई बबलू श्रीवास्तव की सुरक्षा में एक सीओ और दो इंस्पेक्टर समेत 50 से ज्यादा पुलिसकर्मी लगाए गए हैं। केंद्रीय कारागार में बंद अंडरवर्ल्ड डॉन ओमप्रकाश उर्फ बबलू श्रीवास्तव सोमवार को प्रयागराज कोर्ट में पेशी होनी है। दरसल सराफा कारोबारी पंकज महेंद्र के अपहरण और दस करोड़ रुपये की फिरौती मांगने के मामले में कोर्ट ने पेश होने का आदेश दिया है।


 जेल से बाहर खामोशी के साए में दिखा बबलू 

माफिया डॉन बबलू श्रीवास्तव का असली नाम ओम प्रकाश श्रीवास्तव है. वह मूल रूप से उत्तर प्रदेश के गाजीपुर जिले का रहने वाला है. उनका घर आम घाट कॉलोनी में था. उसके पिता विश्वनाथ प्रताप श्रीवास्तव जीटीआई में प्रिंसिपल थे. बबलू का बड़ा भाई विकास श्रीवास्तव आर्मी में कर्नल है.ओमप्रकाश यानी बबलू लखनऊ यूनिवर्सिटी से लॉ कर रहा था। उस दौरान कॉलेज के चुनाव में मारपीट, लड़ाई-झगड़ा,चाकूबाजी जैसी घटनाएं आम थीं। बबलू के दोस्त नीरज जैन भी छात्र चुनाव में महामंत्री पद के लिए खड़े थे और बबलू उनका प्रचार कर रहा था। इस दौरान किसी ने दूसरे गुट के एक छात्र को चाकू मार दिया और इसका आरोप बबलू श्रीवास्तव पर लागय गाय इसके बाद उसे जेल हो गई। बस इस घटना ने उसका पूरा जीवन बदल दिया सेना में जाने का ख्वाब देखने वाला बबलू जब जेल से बाहर आया तो वो पूरी तरह से बदल चुका था। इसके बाद तो कॉलेज में एक के बाद एक न जाने कितनी मारपीट, झगड़ों और लूटपाट जैसी घटनाओं में उसका नाम प्रकाश में आने लगे उसकी गिनती उत्तर प्रदेश के किमिनल्स में होने लगी और उसपर बबलू के नाम से कई केस दर्ज हो गए।


अंडरवर्ल्ड डॉन दाऊद इब्राहिम दुबई में एक पार्टी में हुई थी मुलाकात

बबलू श्रीवास्तव का धीरे-धीरे क्राइम का ग्राफ बढ़ने लगा। उत्तर प्रदेश ही नहीं दूसरे राज्यों में भी बबलू अपहरण, फिरौती और हत्या जैसी घटनाओं को अंजाम देने के बाद उसने अपना एक साम्राज्य स्थापित कर लिया और कई राज्यों की पुलिस उसके पीछे पड़ गई। पुलिस की कार्रवाई से बचने के लिए बचता फिर रहा था। इस दौरान कई और क्रिमिनल्स से भी उसने मदद ली। उत्तर प्रदेश और दूसरे राज्यों की पुलिस से बचते हुए वो नेपाल पहुंच गया और कुछ समय तक नेपाल से ही अपना नेटवर्क चलाने लगा, लेकिन थोड़े दिनों बाद ही उसने नेपाल को भी छोड़ दिया। नेपाल से वो सीधा दुबई पहुंचा जहां बबलू की मुलाकत अंडरवर्ल्ड डॉन दाऊद इब्राहिम से हुई। दाऊद को पहले से ही बबलू के टेरर का पता चल चुका था और फिर यहां से वो उसके साथ जुड़ गया।


11 अक्टूबर को होनी थी पेशी लेकिन प्रधानमंत्री के चेजओवर के चलते हुआ था कैंसिल

11 अक्तूबर को उसे प्रयागराज कोर्ट में पेश होने के निर्देश दिए गए थे लेकिन बरेली में प्रधानमंत्री के चेंजओवर का कार्यक्रम होने के चलते फोर्स नहीं मिल सकी थी। इसके बाद वीडियो कांफ्रेंसिंग से जरिये उसकी पेशी कराने का भी अनुरोध किया गया लेकिन कोर्ट ने इसे मंजूरी नहीं दी। साथ ही 16 अक्तूबर को उसे कोर्ट में पेश करने का आदेश जारी किया था। इसके बाद रविवार दोपहर कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच डॉन बबलू श्रीवास्तव को केंद्रीय कारागार से प्रयागराज रवाना कर दिया गया।



हाई कोर्ट के बाहर से सर्राफा कारोबारी पंकज का हुआ था अपहरण

पांच सितंबर 2015 को शहर के प्रतिष्ठित सर्राफा कारोबारी पंकज महेन्द्रा का हाईकोर्ट के पास से अपहरण हुआ था। शातिर बदमाश उनको अगवा करने के बाद फतेहपुर ले गए और उन्हें एक गेस्ट हाउस में बंधक बनाकर रखा। कारोबारी को छोड़ने के लिए बदमाशों ने 10 करोड़ रुपये की फिरौती मांगी थी। फतेहपुर पुलिस की मदद से जिले की पुलिस ने अपहरण का खुलासा करते हुए डॉन बबलू श्रीवास्तव के खिलाफ अपहरण की साजिश रचने और गैंग के 12 लोगों पर कोतवाली में रिपोर्ट दर्ज की थी।

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